भारत और न्यूज़ीलैंड के खिलाफ चैंपियंस ट्रॉफी के फाइनल मैच का काउंटडाउन शुरू हो चुका है. खिताबी टक्कर में कौन बाज़ी मारेगा ये तो आने वाला वक्त बताएगा, लेकिन इतना साफ है कि टीम इंडिया के सामने फाइनल मुकाबले के दौरान न्यूज़ीलैंड के 1-2 नहीं बल्कि पूरे 5 खतरे जीत की राह में रोड़ा बनने के लिए खड़े रहेंगे. इन 5 खतरों से निपटना कप्तान रोहित शर्मा और पूरी टीम इंडिया के लिए चुनौती रहेगा.
केन विलियमसन
न्यूजीलैंड के पूर्व कप्तान और दिग्गज अनुभवी बल्लेबाज केन विलियमसन चैंपियंस ट्रॉफी में शानदार फॉर्म में नज़र आ रहे हैं. आईसीसी इवेंट्स और भारत के खिलाफ उनका रिकॉर्ड भी शानदार है. जहां सेमीफाइनल में उन्होंने साउथ अफ्रीका के खिलाफ शानदार शतक बनाया है. तो भारत के खिलाफ भी इस टूर्नामेंट में केन ने 81 रन की शानदार पारी खेली था. भारत के खिलाफ फाइनल में वो बड़ी चुनौती रहेंगे.

रचिन रविंद्र
न्यूज़ीलैंड के स्टार ऑलराउंडर रचिन रविंद्र भी शानदार फॉर्म में हैं. साउथ अफ्रीका के खिलाफ उन्होंने भी सेमीफाइनल में शतक बनाते हुए अपनी टीम के लिए जीत की बुनियाद तैयार की. आईसीसी इवेंट्स में बेहतरीन करियर रखने वाले रचिन ने इससे पहले बांग्लादेश के खिलाफ भी शतक बनाया था. वहीं भारत के खिलाफ भी उनका बल्ला खासा लय में दिखता है. चैंपियंस ट्रॉफी की खिताबी जीत के लिए टीम इंडिया को रचिन रविंद्र के बल्ले पर भी लगाम लगानी ही होगी.

मैट हेनरी
न्यूजीलैंड के तेज गेंदबाज मैट हेनरी की फिटनेस को लेकर हालांकि थोड़ा सस्पेंस ज़रूर है. लेकिन 9 मार्च को होने वाले फाइनल मैच को अभी भी 3 दिन बाकी हैं. ऐसे में इस बात की पूरी उम्मीद है कि कीवी टीम के बड़े मैच विनर की मौजूदगी भारतीय टीम को फाइनल में चुनौती दे सकती है. भारत के खिलाफ भी मैट हेनरी ने पिछले मैच में 5-5 विकेट चटकाए थे. टूर्नामेंट में हेनरी अब तक खेले 4 मैचों में किसी भी दूसरे गेंदबाज़ से ज्यादा 10 विकेट ले चुके हैं.

मिचेल सैंटनर
दुबई की कंडीशंस में स्पिनर्स के लिए मदद मौजूद है. ऐसे में न्यूज़ीलैंड के ऑलराउंडर कप्तान मिचेल सैंटनर भी किसी खतरे से कम नहीं. सैंटनर की फिरकी में विविधता है और वो मददगार कंडीशंस का फायदा उठाना जानते हैं. साउथ अफ्रीका के खिलाफ सेमीफाइनल मैच में उन्होंने एक बार फिर 3-3 विकेट चटकाकर अपनी टीम को फाइनल का टिकट दिला दिया. इससे पहले भारत के खिलाफ लीग मैच में सैंटनर अपनी बल्लेबाज़ी से भी टीम इंडिया के खिलाफ खतरनाक नज़र आ रहे थे. उस मैच में सैंटनर ने 27 गेंदों पर 1 चौके और 2 छक्कों की मदद से 28 रनों की पारी खेली थी.

ग्लेन फिलिप्स
चैंपियंस ट्रॉफी के फाइनल में ग्लेन फिलिप्स का भी खतरा भारतीय टीम के खिलाफ बना रहेगा. फिलिप्स की 27 गेंदों पर खेली 49 रनों की पारी, सेमीफाइनल में साउथ अफ्रीका के खिलाफ न्यूज़ीलैंड की जीत में निर्णायक साबित हुई थी. टूर्नामेंट में अब तक फिलिप्स 4 मैचों में 140.19 की स्ट्राइक रेट और 71.50 की औसत से 143 रन बना चुके हैं. इसके अलावा फिलिप्स की स्पिन गेंदबाज़ी और बेमिसाल फील्डिंग मैच में बाज़ी पलटने का माद्दा रखती है.

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