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Paris Olympics के भारतीय स्टार को मिली सुप्रीम राहत, कानूनी जांच से बच गए लक्ष्य सेन!

पेरिस ओलंपिक्स में अपने शानदार खेल से देश का नाम रोशन करने वाले भारत के स्टार बैडमिंटन खिलाड़ी लक्ष्य सेन पर मंडरा रहा बड़ा कानूनी खतरा टल गया है. दरअसल लक्ष्य सेन को ऐज फ्रॉड मामले में बड़ी राहत मिली है. सुप्रीम कोर्ट ने लक्ष्य सेन के खिलाफ कर्नाटक हाई कोर्ट के दिए जांच के आदेश पर रोक लगा दी है. पढ़ें पूरी खबर...

Lakshya Sen

भारत के स्टार बैडमिंटन खिलाड़ी लक्ष्य सेन (Badminton Player Lakshya Sen) पर मंडरा रहा बड़ा कानूनी खतरा टल गया है. दरअसल लक्ष्य सेन को ऐज फ्रॉड (सही उम्र छिपाने) के मामले में बड़ी राहत मिली है। रिपोर्ट्स के मुताबिक सुप्रीम कोर्ट ने लक्ष्य को बड़ी राहत देते हुए कर्नाटक हाई कोर्ट के उस आदेश पर रोक लगा दी है, जिसमें हाईकोर्ट ने लक्ष्य की याचिका खारिज करते हुए इस विवाद में जांच के आदेश दिए थे.

लक्ष्य सेन पर थे ऐज फ्रॉड के आरोप

लक्ष्य सेन पर आरोप है कि उन्होंने अपने परिवार और कोच के साथ मिलकर जूनियर बैडमिंटन टूर्नामेंट्स में गलत जन्म प्रमाण पत्र दिए, जिससे टूर्नामेंट्स में खेलने के लिए गलत उम्र को दिखाया गया. इसी ऐज फ्रॉड के मामले में लक्ष्य के अलावा उनके माता-पिता और बचपन के कोच विमल कुमार को भी आरोपी बताया गया है. इस पूरे विवाद में लक्ष्य सेन ने भी अपनी याचिका दायर की थी, जिसमें उन्होंने कहा था कि ‘उनके खिलाफ ऐज फ्रॉड का मामला तथ्यात्मक सबूतों के बजाय व्यक्तिगत शिकायतों पर बनाया गया है।’ अपनी दलील में लक्ष्य ने यह भी कहा था कि, ‘शिकायतकर्ता एमजी. नागराज ने उन पर आरोप लगाए थे, क्योंकि उनकी बेटी को प्रकाश पादुकोण बैडमिंटन एकेडमी में दाखिला नहीं मिल पाया था.’

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2010 के मामले में आरोपी थे लक्ष्य

सुप्रीम कोर्ट में लक्ष्य सेन की ओर से दायर याचिका पर सुनवाई में, कर्नाटक हाई कोर्ट के आदेश पर रोक लगा दी गई है। जिसे लक्ष्य सेन को लेकर बड़ी राहत माना जा सकता है. अदालत में लक्ष्य सेन की तरफ से वकील ने दलील में दावा किया कि, ‘उनपर लगाए गए आरोप निराधार हैं।’ लक्ष्य सेन पर आरोप लगाने वाले एमजी. नागराज भी बैडमिंटन ऐकेडमी चलाते हैं, जिन्होंने दावा किया था 2010 में ये एज फ्रॉड किया गया था. जिसके तहत मामले में आईपीसी की धारा 420 (धोखाधड़ी), 468 (धोखाधड़ी के मकसद से जालसाज़ी) और धारा 471 (फर्जी रिकॉर्ड के इस्तेमाल) के साथ एफआईआर दर्ज की गई थी.

पेरिस ओलंपिक्स में रचा था इतिहास

लक्ष्य सेन ने पेरिस ओलंपिक्स के मेन्स बैडमिंटन इवेंट की सिंगल्स कैटेगरी में सेमीफाइनल तक का सफर तय किया था. ऐसा करने वाले वो भारत के पहले और इकलौते शटलर रहे हैं. हालांकि सेमीफाइनल मैच में मलेशिया के ली जी जिया से पहला गेम जीतने के बावजूद वो मैच हार गए थे. लेकिन उनकी इस उपलब्धि ने भारतीय बैडमिंटन खिलाड़ियों की बढ़ती प्रतिभा की छाप पूरी दुनिया पर छोड़ दी थी.

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Written By

Rishabh Sharma


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